आतंकवाद के खिलाफ भारत के साथ है ब्रिटेन: हिंद-प्रशांत मंत्री ने सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल से कहा
जोहेब माधव
- 02 Jun 2025, 09:09 PM
- Updated: 09:09 PM
(अदिति खन्ना)
लंदन, दो जून (भाषा) ब्रिटेन की हिंद-प्रशांत मामलों की मंत्री कैथरीन वेस्ट ने सोमवार को लंदन में विदेश, राष्ट्रमंडल एवं विकास कार्यालय (एफसीडीओ) में एक बैठक में भाजपा सांसद रविशंकर प्रसाद के नेतृत्व में सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल से कहा कि ब्रिटेन आतंकवाद से निपटने के भारत के प्रयासों में उसके साथ है।
प्रतिनिधिमंडल ने आतंकवाद के खिलाफ भारत के संकल्प का उल्लेख किया और कहा कि पूरी मानवता के हित में इसे खत्म किया जाना चाहिए।
कैथरीन वेस्ट ने ब्रिटेन की ओर से एक बार फिर अप्रैल में हुए पहलगाम आतंकवादी हमले की निंदा की और हिंद-प्रशांत क्षेत्र में स्थिरता के लिए भारत के योगदान की सराहना की।
बैठक के बाद सोशल मीडिया पर जारी एक बयान में भारतीय उच्चायोग ने कहा, “प्रतिनिधिमंडल ने आतंकवाद से अपने दम पर निपटने के भारत के संकल्प को दोहराया। उन्होंने इस बात पर भी जोर दिया कि आतंकवाद सभी देशों के लिए खतरा बना हुआ है और इसलिए दुनिया को पूरी मानवता के हित में इस संकट को मिटाने की जरूरत है।”
बयान में कहा गया है, “मंत्री ने एक बार फिर भारत में हुए आतंकवादी हमलों की ब्रिटेन की ओर से निंदा की। उन्होंने वैश्विक रणनीतिक और आर्थिक दृष्टि से भारत के साथ संबंधों को प्राथमिकता दी, हिंद-प्रशांत क्षेत्र में स्थिरता व वैश्विक आर्थिक विकास में योगदान पर बात की। उन्होंने कहा कि ब्रिटेन भारत के प्रयासों में उसके साथ है; एक ऐसे राष्ट्र के रूप में जो खुद आतंकवादी हमलों से पीड़ित है। उन्होंने कहा कि ब्रिटेन का मानना है कि आतंकवादी कृत्य करने वालों को न्याय के कटघरे में लाया जाना चाहिए। सभी देशों को इस दिशा में काम करना चाहिए।”
यह उन सात सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडलों में से एक है जिन्हें भारत ने 33 देशों की राजधानियों का दौरा करने का दायित्व सौंपा है, ताकि अंतरराष्ट्रीय समुदाय तक यह संदेश पहुंचाया जा सके कि पाकिस्तान का आतंकवाद से संबंध है।
पहलगाम आतंकवादी हमले के बाद भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव बढ़ गया, तथा छह-सात मई की दरमियानी रात भारत ने पाकिस्तान और पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में आतंकवादी ढांचे पर सटीक हमले किये।
पाकिस्तान ने आठ, नौ और 10 मई को भारतीय सैन्य ठिकानों पर हमला करने का प्रयास किया। भारतीय पक्ष ने पाकिस्तानी कार्रवाई का कड़ा जवाब दिया।
दस मई को दोनों पक्षों के सैन्य अभियान महानिदेशकों के बीच वार्ता के बाद सैन्य कार्रवाइयों को रोकने की सहमति बनी।
भाषा जोहेब