जम्मू के सीमावर्ती इलाकों में आठ पाकिस्तानी मिसाइल नष्ट की गईं
हक हक देवेंद्र
- 08 May 2025, 11:35 PM
- Updated: 11:35 PM
जम्मू, आठ मई (भाषा) भारतीय वायु रक्षा इकाइयों ने बृहस्पतिवार शाम सामरिक रूप से महत्वपूर्ण जम्मू हवाई अड्डे सतवारी समेत जम्मू के सीमावर्ती क्षेत्रों की ओर पाकिस्तान द्वारा दागी गई कम से कम आठ मिसाइल को सफलतापूर्वक नष्ट कर दिया। रक्षा सूत्रों ने यह जानकारी दी है।
सूत्रों ने कहा कि फलस्तीनी आतंकी समूह हमास की रणनीति की तरह जम्मू क्षेत्र में दागे गए कई मामूली रॉकेट को वायु रक्षा इकाइयों द्वारा सफलतापूर्वक रोका गया और बेअसर कर दिया गया।
सूत्रों ने बताया कि मिसाइल को सतवारी (जम्मू हवाई अड्डा), सांबा, आरएस पुरा और अरनिया समेत प्रमुख स्थानों को लक्षित करके दागा गया था।
सूत्रों ने कहा कि पाकिस्तानी सेना हमास जैसे आतंकवादी संगठन के समान तरीके से काम कर रही है और पिछले महीने पाकिस्तान के कब्जे वाले कश्मीर में पाकिस्तान की ‘इंटर-सर्विसेज इंटेलिजेंस’ (आईएसआई) और हमास के सदस्यों के बीच एक बैठक हुई थी।
भारत की पश्चिमी सीमा की ओर भी दुश्मन के ड्रोन देखे गए गए, जिसे सफलतापूर्वक विफल कर दिया गया।
जम्मू शहर में दो बड़े धमाके हुए और इसके बाद अचानक बिजली गुल हो गई। ये धमाके संभवतः ड्रोन को रोकने के कारण हुए थे। इसके तुरंत बाद, पूरे शहर में सायरन गूंजने लगे, जिससे निवासियों को सुरक्षित जगहों पर आश्रय लेने के लिए सजग होना पड़ा।
सामरिक रूप से महत्वपूर्ण जम्मू हवाई अड्डे और उसके आस-पास के क्षेत्रों पर हमला करने का प्रयास किया गया था, जहां सेना, वायुसेना और अर्धसैनिक बलों के प्रतिष्ठान स्थित हैं।
सूत्रों ने वायु रक्षा प्रोटोकॉल के सक्रिय होने की पुष्टि की, जिसके परिणामस्वरूप भारतीय वायु रक्षा प्रणाली द्वारा कई पाकिस्तानी ड्रोन को मार गिराया गया।
प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, हवाई अड्डे के परिसर के बाहर एक ड्रोन को गिरते देखा गया।
जम्मू शहर के निवासी अपनी बालकनियों से हवाई गतिविधि को देखने के लिए खड़े देखे गए।
जन संपर्क अधिकारी (रक्षा-जम्मू) द्वारा ‘एक्स’ पर पोस्ट किया गया, ‘‘आज जम्मू-कश्मीर में अंतरराष्ट्रीय सीमा पर जम्मू, पठानकोट और उधमपुर में सैन्य स्टेशनों को पाकिस्तानी ड्रोन और मिसाइलों द्वारा निशाना बनाया गया।’’
इसमें कहा गया है, ‘‘स्थापित मानक संचालन प्रक्रियाओं के अनुरूप ‘काइनेटिक’ और ‘नॉन-काइटनेटिक’ क्षमताओं का उपयोग करके खतरों को तेजी से बेअसर कर दिया गया। किसी के हताहत होने या भौतिक नुकसान की सूचना नहीं मिली। भारत अपनी संप्रभुता की रक्षा करने और अपने लोगों की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए पूरी तरह तैयार है।’’
भाषा हक हक